
गुवाहाटी: गुवाहाटी उच्च न्यायालय ने गुरुवार को राज्य सरकार से कहा कि वह राज्य के निजी अस्पतालों की शिकायत करने वाली याचिका का जवाब दे।
उच्च न्यायालय की यह प्रतिक्रिया अधिवक्ता संघ द्वारा असमिया के स्वदेशी अधिकारों के लिए (AAIRA) द्वारा निजी अस्पतालों में कोविद उपचार की दरों को सीमित करने में अदालत के हस्तक्षेप की मांग करते हुए जनहित याचिका (पीआईएल) के माध्यम से अदालत में पेश किए जाने के बाद आई है ।
ऐसी खबरें थीं कि राज्य के निजी अस्पताल मरीजों से कोविड 19 उपचारों के लिए असामान्य रूप से चार्ज कर रहे हैं और राज्य सरकार द्वारा इस पर कोई नियंत्रण नहीं था ।
इससे पहले राज्य के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा शर्मा ने भी इसी तरह की शिकायतें मिलने की बात स्वीकार करते हुए कहा था कि इसका समाधान निकालने के लिए निजी अस्पतालों से चर्चा चल रही है । हालांकि अभी तक राज्य सरकार की ओर से इलाज की दरों की कैपिंग को लेकर कोई आधिकारिक आदेश जारी नहीं किया गया है।
याचिका में एसोसिएशन ने उच्च न्यायालय के समक्ष यह भी प्रार्थना की कि वह राज्य सरकार को आदेश दे कि वह राज्य के सभी अस्पतालों में अस्पताल के बिस्तरों की उपलब्धता की स्थिति को दैनिक आधार पर प्रदर्शित करते हुए एक ऑनलाइन पोर्टल लेकर आए ।
जनहित याचिका में खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में कॉविड मरीजों को ऑक्सीमीटर उपलब्ध कराने को भी कहा गया है। याचिकाकर्ता पक्ष की ओर से अधिवक्ता केके महंत पेश हुए।
इसके जवाब में राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि जनहित याचिका में जिन मुद्दों का जिक्र किया गया है, उनमें से ज्यादातर पर राज्य पहले से ही सक्रिय विचाराधीन है। राज्य सरकार की ओर से सभी विवरण प्रस्तुत करने के लिए दो दिन का समय मांगा गया है और अदालत ने इसे मंजूर कर लिया है ।
मामले की अगली सुनवाई 8 जून को तय की गई थी।